बाँदा

नमस्कार मित्रों

तंत्र में बाँदा का मतलब है कि किसी एक प्रजाति के वृक्ष पर किसी और प्रजाति का वृक्ष निकलना। विभिन्न वृक्षों पर लगने के कारण इन बांदो का नामकरण भी उन वृक्षों के नाम पर ही किया जाता है जिस पर यह लगे होतें हैं। साधारणतया बरगद,पाकड़ ,नीम,आम,पीपल जैसे बड़े वृक्षों पर बाँदा आसानी से मिल जाता है। कुछ तांत्रिक ग्रंथों में इनके अलावां भी कुछ वनस्पतियों के बांदे भी मिलते है जो थोडा दुर्लभ होतें हैं। बाँदा प्राप्त करने में कुछ विशेष नक्षत्र का ध्यान रखना चाहिए। अगर ऐसा संयोग बनता है तो बांदे के प्रयोग का चमत्कारी लाभ प्राप्त होता है और अगर नक्षत्र का संयोग नहीं बन पद रहा हो तो भी बाँदा अपने में ही चमत्कारी होता है। अब थोडा  सरल भाषा में समझाता हूँ आपको। मान लीजिये कि एक बरगद का वृक्ष है जिस पर आम का वृक्ष भी निकला है तो उस आम के वृक्ष को बरगद का बाँदा कहेंगे। आज के लिए केवल इतना ही आगे मै आपको बताऊंगा कि किस बांदे  का प्रयोग किसी विशेष समस्या के समाधान के लिए कैसे करें। तब तक के लिए नमस्कार 

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